नागभट्ट प्रथम कौन था ?

नागभट्ट प्रथम



गुर्जर प्रतिहार वंश का वास्तविक संस्थापक नागभट्ट प्रथम (730-756 ई.) था।  वह एक पराक्रमी शासक था। 



ग्वालियर अभिलेख से पता चलता है कि उसने एक शक्तिशाली म्लेच्छ शासक की विशाल सेना को नष्ट कर दिया।  वह म्लेच्छ शायद सिन्ध का शासक था।  


इस प्रकार नागभट्ट ने अरबों के आक्रमण से पश्चिमी भारत की रक्षा की तथा उनके द्वारा रौंदे हुए अनेक प्रदेशों को पुनः जीत लिया। 

ग्वालियर लेख में कहा गया है कि 'म्लेच्छ राजा की विशाल सेनाओं को चूर करने वाला मानो नारायणरूप में वह लोगों की रक्षा के लिए उपस्थित हुआ था।  

ऐसा प्रतीत होता है कि नागभट्ट ने अरबों को परास्त कर भडौच के आस-पास का क्षेत्र छीन लिया तथा अपनी ओर से चहमान शासक भतृबड्ढ़ द्वितीय को वहाँ का शासक नियुक्त किया।  

हांसोट लेख से इसकी पुष्टि होती है, जो नागभट्ट के समय जारी करवाया गया था।  

इसके पहले अरबों ने जयभट्ट को पराजित कर भड़ौच पर अपना अधिकार कर लिया था।  किन्तु नागभट्ट ने पुनः वहाँ अपना अधिकार स्थापित कर भतृबढ़ को शासक बनाया।  

नागभट्ट का समकालीन अरब शासक जुनैद था। 

मुस्लिम लेखक अल बिलादुरी के विवरण से पता चलता है कि जुनैद को मालवा के विरुद्ध सफलता नहीं मिली थी।  

इस प्रकार गुजरात तथा राजपूताना के एक बड़े भाग का वह शासक बन बैठा। 

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