एलीफैण्टा क्या है ?

एलीफैण्टा

infonewshunts.blogspot.com, एलीफैण्टा क्या है ?

एलीफैण्टा


मुम्बई के पास स्थित एलीफैण्टा गुफाएँ शैव धर्म से सम्बन्धित है, इसका प्राचीन नाम धारापुरी था।  

एलीफैण्टा की गुफाओं में 500 से 600 ई. के लगभग निर्मित भगवान शंकर की लीलाओं का चित्रांकन किया गया।



यहाँ कुल सात गुफाएँ हैं, जिनमें पाँच हिन्दू और दो बौद्ध गुफाएँ हैं। 

 हिन्दू गुफाओं में सबसे महत्वपूर्ण मूर्ति मुख्य गुफा में 26 स्तम्भ है। 
 जिसमें शिव को कई रूपों में उकेरा गया है।  

बेसाल्ट की पहाड़ियों को काटकर बनाई गई ये मूर्तियाँ दक्षिण भारतीय मूर्तिकला से प्रेरित है। 

इसका ऐतिहासिक नाम धारापुरी है, जो कोंकणी मौर्य की राजधानी थी।  
प्राप्त जानकारी के अनुसार एलीफैण्टा नाम पुर्तगालियों की देन हैं। 

 पुर्तगालियों को 18वीं शताब्दी में यहाँ सबसे पहले हाथी की एक मूर्ति मिली थी, जिस पर ही इस स्थान का नाम एलिफैण्टा पड़ा।  

एलीफैण्टा समूह में सात गुफाओं की खुदाई की गई थी और इनका समय छठी-सातवीं सदी ईस्वी के आसपास माना जाता है।  

उत्खनित गुफाओं में से गुफा संख्या 1 सबसे अधिक महत्वपूर्ण है और यह विकसित ब्राह्मणी शैलकृत वास्तुकला का प्रतिनिधित्व करती है।  

इन भव्य गुफाओं में सातों मन्दिर भगवान शिव को समर्पित है।  

यहाँ भगवान शंकर की नौ बड़ी-बड़ी मूर्तियाँ हैं, जो शंकरजी के विभिन्न रूपों और क्रियाओं को दर्शाती है।  

इनमें शिव की त्रिमूर्ति प्रतिमा सबसे आकर्षक है।  

यहाँ की शिल्पकलाओं में शिव एवं पार्वती के विवाह का, रावण द्वारा कैलाश पर्वत को ले जाने, शिवनटराज, अर्द्धनारीश्वर तथा पंचमुखी परमेश्वर रूप प्रमुख है।  

1987 में यूनेस्को द्वारा एलीफैण्टा गुफाओं को विश्व धरोहर घोषित किया गया। 


Comments